Chapter 4 मानव विकास
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अध्याय-04 मानव विकास
1. मानव विकास की अवधारणा निम्नलिखित में से किस विद्वान की देन है ?
(1) प्रो. अमर्त्य सेन
(2) डॉ. महबूब उल हक
(3) एलन सी. सेम्पुल
(4) रैटजेल (2)
2. मानव विकास की अवधारणा निम्न में किस संकल्पना पर आश्रित है ?
(1) सतत पोषणियता
(2) उत्पादकता
(3) सशक्तिकरण
(4) उपरोक्त सभी (4)
3. उच्च मानव विकास सूचकांक वाले देशों का सूचकांक स्कोर होता है ?
(1) 0.800 से ऊपर
(2) 0.700 से 0.799 के बीच
(3) 0.550 से 0.699 के बीच
(4) 0.549 के नीचे (2)
4. निम्न में से किस देश ने सकल राष्ट्रीय प्रसन्नता को देश की प्रगति का अधिकारिक माप घोषित किया है ?
(1) भारत
(2) नार्वे
(3) भूटान
(4) श्रीलंका (3)
5. अन्तर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO) ने मानव विकास के किस उपागम का प्रतिपादन किया गया ?
(1) आय उपागम
(2) कल्याण उपागम
(3) आधारभूत आवश्यकता उपागम
(4) क्षमता उपागम (3)
6. प्रो. अमर्त्यसेन का संबंध किस मानव विकास उपागम से है ?
(1) आय उपागम
(2) कल्याण उपागम
(3) आधारभूत आवश्यकता उपागम
(4) क्षमता उपागम (4)
7. सर्वोच्च मानव विकास सूचकांक वाला देश है ?
(1) नार्वे
(2) भारत
(3) आयरलैण्ड
(4) स्वीडन (1)
8. मध्यम मानव विकास सूचकांक वर्ग में कितने देश है ?
(1) 66
(2) 53
(3) 37
(4) 33 (3)
9. मानव विकास का महत्वपूर्ण पक्ष है-
(1) दीर्घ व स्वस्थ जीवन
(2) ज्ञान अर्जित करना
(3) जीवन जीने के पर्याप्त साधन
(4) उपरोक्त सभी (1)
10. प्रतिवर्ष मानव विकास प्रतिवेदन प्रकाशित करता है ?
(1) UNEP
(2) UNDP
(3) UNESCO
(4) WHO (2)
लघुतरात्मक प्रश्न
1. बुद्धि और विकास में क्या अन्तर है ?
उत्तर- 1. बुद्धि धनात्मक एवं ऋणात्मक, दोनों प्रकार की हो सकती है परन्तु विकास के अन्तर्गत गुणवता में सकारात्मक परिवर्तन होता है।
2. वृद्धि मात्रात्मक और मूल्य निरपेक्ष होती है जबकि विकास गुणात्मक होता है इसका मूल्य सापेक्ष होता है
2. मानव विकास क्या है स्पष्ट कीजिए ?
उत्तर- मानव विकास लोगों के जीवन में सुधार लाता है उनके विकल्पों में वृद्धि करता है किसी देश के लोग जीवन की गुणवता का आनंद लेते है उन्हें जो अवसर उपलब्ध है और स्वतंत्रताओं का भोग करते है।
3. मानव विकास के आय उपागम से आप क्या समझते है ?
उत्तर- यह मानव विकास के सबसे पुराने उपागमों में से एक है इसमें मानव विकास को आय के साथ जोड़कर देखा जाता है आय का स्तर किसी व्यक्ति की स्वतंत्रता को परिलक्षित करता है आय का स्तर ऊँचा होने पर मानव विकास का स्तर भी ऊँचा होगा ।
4. मानव विकास के कल्याण उपागम से आप क्या समझते है ?
उत्तर- यह उपागम मानव को लाभार्थी अथवा सभी विकासात्मक गतिविधियों के लक्ष्य के रूप में देखता है । यह उपागम शिक्षा, स्वास्थ्य, सामाजिक सुरक्षा और सुख साधनों पर उच्चतर सरकारी व्यय का तर्क देता है। लोग विकास के प्रतिभागी नहीं है किन्तु वे केवल निष्क्रिय प्राप्तकर्ता है।
5. मानव विकास सूचकांक का मापन किस प्रकार किया जाता है ?
उत्तर- मानव विकास सूचकांक के मापन के तीन आयाम है प्रत्येक आयाम को
1 /3 भारिता दी जाती है।
1. स्वास्थ्य-
इसके मूल्यांकन के लिए यह सूचक उच्चतर जीवन प्रत्याशा दीर्घ तथा स्वस्थ जीवन जीने के अवसरों का द्योतक है।
2. शिक्षा-
इसके मूल्यांकन के लिए प्रौढ़ साक्षरता दर तथा विद्यालयों में नामांकित बच्चों की संख्या को आधार माना जाता है।
3. संसाधनों तक पहुँच –
इसको मानव की क्रयशक्ति के आधार पर मापा जाता है।
6. मानव विकास के संदर्भ में सतत पोषणीयता से क्या आशय है ?
उत्तर- सतत पोषणीयता का अर्थ है अवसरों की उपलब्धता में निरंतरता । प्रत्येक पीढ़ी को समान अवसर मिले समस्त पर्यावरणीय वित्तीय एवं मानव संसाधनों का उपयोग भविष्य को ध्यान में रखकर करना चाहिए। ताकि आने वाली पीढ़ियों के लिए अवसरों की कमी ना रहे।
7. मानव विकास के संदर्भ में समता से क्या आशय है ?
उत्तर- समता का आशय प्रत्येक व्यक्ति को उपलब्ध अवसरों के लिए समान पहुँच की व्यवस्था करना है। लोगों को उपलब्ध अवसर लिंग, प्रजाति, आय और भारत के संदर्भ में जाति के भेदभाव के विचार के बिना समान होने चाहिए।