अपठित पद्यांश 7

अपठित काव्यांश भी गद्यांश की भाँति बिना पढ़ा अंश होता है। यह पाठ्यक्रम के बाहर से लिया जाता है। इसके द्वारा छात्रों की काव्य संबंधी समझ का मूल्यांकन किया जाता है। इसके अंतर्गत विषय वस्तु का मूल्यांकन किया जाता है। इसके अंतर्गत विषय वस्तु, अलंकार, भाषिक योग्यता संबंधी समझ की परख की जाती है।

अपठित काव्यांश हल करते समय निम्नलिखित बातों का ध्यान रखना चाहिए-

  • दिए गए काव्यांश को कम से कम दो-तीन बार अवश्य पढ़ें।
  • पूछे गए प्रश्नों के उत्तरों को रेखांकित कर लें।
  • प्रश्नों के उत्तर सरल भाषा में लिखें।
  • उत्तर काव्यांश से ही होना चाहिए।

उदाहरण ( उत्तर सहित)
1. हँसते खिलखिलाते रंग-बिरंगे फूल
क्यारी में देखकर
जी तृप्त हो गया।
नथुनों से प्राणों तक खिंच गई
गंध की लकीर-सी
आँखों में हो गई रंगों की बरसात
अनायास कह उठा दिल वाह!
धन्य है वसंत ऋतु !

प्रश्न
(क) कवि ने किस ऋतु का वर्णन किया है?
(i) पतझड़
(ii) वसंत
(iii) वर्षा
(iv) ग्रीष्म

(ख) रंग-बिरंगे फूलों को देखकर कवि के हृदय में कौन-सा भाव आया?
(i) प्रसन्नता
(ii) कृतज्ञता
(iii) संतुष्टि
(iv) चापलूसी

(ग) “गंध की लकीर-सी’ से क्या अभिप्राय है
(i) गंध की रेखा
(ii) हृदय में सुगंध की अनुभूति
(iii) खुशबू
(iv) सुगंध से हृदय में प्रसन्नता की अनुभूति

(घ) काव्यांश का उपर्युक्त शीर्षक होगा
(i) रंग-बिरंगे फूल
(ii) वसंत ऋतु
(iii) गंध की लकीर
(iv) रंगों की बरसात

उत्तर-
(क) (ii)
(ख) (iii)
(ग) (ii)
(घ) (ii)

2. मौसम आज पतंगों का है,
नभ में राज पतंगों का है।
इंद्रधनुष के रंगों का है।
मौसम नई उमंगों का है।
निकले सब ले डोर-पतंगें,
उड़ा रहे कर शोर पतंगें।
देखों चारों ओर पतंगें।

प्रश्न
(क) कौन-सा मौसम आया है?
(i) वसंत
(ii) पतंगों का
(iii) पंद्रह अगस्त
(iv) वर्षा

(ख) आकाश में किन रंगों की पतंग है?
(i) लाल, पीली, नीली
(ii) सात रंगों की
(iii) सभी रंगों की
(iv) हरी, नीली

(ग) सबके हृदय में कैसा भाव है?
(i) प्रसन्नता
(ii) उत्सव मनाने का
(iii) जीत
(iv) पतंग उड़ाने की चाह

(घ) पद्यांश का उचित शीर्षक है
(i) पतंगें।
(ii) पतंगों का मौसम
(iii) इंद्रधनुष के रंग
(iv) नई उमंगें

उत्तर-
(क) (iii)
(ख) (ii)
(ग) (ii)
(घ) (i)

3. हिमगिरि के हिम से निकल-निकल,
यह बिमल दूध-सा हिम का जल,
कर-कर निनाद कल-कल, छल-छल
बहता आता नीचे पल-पल
तन का चंचल मन का विह्वल,
यह लघु सरिता का जल!

प्रश्न
(क) सरिता का जल कहाँ से आ रहा है?
(i) पर्वत से विघलकर
(ii) बर्फ से पिघलकर
(iii) हिमालय की बर्फ से पिघलकर
(iv) सरिता का जल किस रंग का है।

(ख) सरिता का जल किस रंग का है?
(i) नीला
(ii) सफ़ेद
(iii) हरा
(iv) मोती-सा

(ग) सरिता के जल की विशेषताएँ क्या हैं?
(i) मस्त और व्याकुल
(ii) चंचल और व्याकुल
(iii) चंचल और मस्त
(iv) चंचल और शरारती

(घ) पद्यांश का उचित शीर्षक है
(i) सरिता का जल
(ii) हिमगिरि का जल
(iii) चंचल जल
(iv) लघु सरिता

उत्तर-
(क) (iii)
(ख) (ii)
(ग) (iv)
(घ) (i)

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