Rajasthan Board RBSE Class 12 Geography Chapter 17 ऊर्जा संसाधन

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 पाठ्यपुस्तक के प्रश्नोत्तर

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 बहुचयनात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
अंकलेश्वर तेल क्षेत्र किस राज्य में स्थित है?
(अ) असोम
(ब) महाराष्ट्र
(स) आन्ध्र प्रदेश
(द) गुजरात
उत्तर:
(द)

प्रश्न 2.
भारत में किस राज्य में सर्वाधिक थोरियम निकाला जाता है?
(अ) तमिलनाडु
(ब) केरल
(स) कर्नाटक
(द) महाराष्ट्र
उत्तर:
(ब)

प्रश्न 3.
बॉम्बे हाई किस लिए प्रसिद्ध है?
(अ) पनडुब्बी निर्माण के लिए
(ब) परमाणु रिएक्टर के लिए
(स) पेट्रोलियम भण्डार के लिए
(द) मत्स्य के लिए
उत्तर:
(स)

प्रश्न 4.
भारत का नूनमती तेल शोधक कारखाना स्थित है –
(अ) बिहार
(ब) महाराष्ट्र
(स) केरल
(द) असोम
उत्तर:
(द)

प्रश्न 5.
सूर्य शक्ति (ऊर्जा) के उत्पादन की उपयुक्त दशाएँ पायी जाती हैं –
(अ) तमिलनाडु में
(ब) राजस्थान में
(स) उत्तरांचल में
(द) मध्य प्रदेश में
उत्तर:
(ब)

प्रश्न 6.
निम्नलिखित क्षेत्रों में से कौन-से क्षेत्र में भारत का अधिकतम पेट्रोलियम भण्डार पाया जाता है?
(अ) बम्बई हाई
(ब) गोदावरी बेसिन
(स) गुजरात तट
(द) ब्रह्मपुत्र घाटी
उत्तर:
(अ)

प्रश्न 7.
कोग्रला भण्डारों की दृष्टि से अग्रणी राज्य है –
(अ) मध्य प्रदेश
(ब) छत्तीसगढ़
(स) झारखण्ड
(द) ओडिशा
उत्तर:
(स)

प्रश्न 8.
देश की सबसे लम्बी पेट्रोलियम पाइपलाइन है –
(अ) नूनमती-बरौनी
(ब) मथुरा-जालन्धर
(स) सलाया-मथुरा
(द) मुम्बई-जालन्धर
उत्तर:
(स)

प्रश्न 9.
ऊर्जा के गैर-परम्परागत स्रोतों में सबसे महत्त्वपूर्ण है –
(अ) सौर ऊर्जा
(ब) पवन ऊर्जा
(स) ज्वारीय ऊर्जा
(द) कूड़े-कचरे से उत्पन्न ऊर्जा
उत्तर:
(अ)

प्रश्न 10.
निम्न में से किस नदी बेसिन में कोयले के निक्षेप नहीं पाए जाते हैं?
(अ) ब्रह्मपुत्र
(ब) गोदावरी
(स) दामोदर
(द) गंगा
उत्तर:
(द)

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 अतिलघूत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 11.
भारत में पाये जाने वाले परम्परागत ऊर्जा संसाधनों के नाम लिखिए।
उत्तर:
भारत के परम्परागत ऊर्जा संसाधनों में कोयला, पेट्रोलियम, प्राकृतिक गैस, तापीय ऊर्जा, परमाणु ऊर्जा तथा जल विद्युत सम्मिलित हैं।

प्रश्न 12.
भारत में पाये जाने वाले गैर-परम्परागत ऊर्जा संसाधनों के नाम लिखिए।
उत्तर:
पवन ऊर्जा, सौर ऊर्जा तथा जैविक ऊर्जा भारत में पाए जाने वाले प्रमुख गैर-परम्परागत ऊर्जा संसाधन हैं।

प्रश्न 13.
टेरशियरी कोयला कहाँ पर मिलता है?
उत्तर:
टरशियरी कोयला असम, मेघालय, जम्मू-कश्मीर, तमिलनाडु, राजस्थान, अरुणाचल प्रदेश तथा पश्चिम बंगाल राज्यों में मिलता है।

प्रश्न 14.
भारत के पाँच प्रमुख कोयला उत्पादक राज्यों के नाम लिखिए।
उत्तर:
भारत के प्रमुख कोयला उत्पादक राज्य –

  1. झारखण्ड
  2. उड़ीसा
  3. छत्तीसगढ़
  4. मध्य प्रदेश
  5. महाराष्ट्र

प्रश्न 15.
भारत के प्रमुख खनिज तेल भण्डारों के नाम लिखिए।
उत्तर:
प्रमुख खनिज तेल भण्डार –

  1. बॉम्बे हाई अपतटीय क्षेत्र
  2. अलियाबेट द्वीप व बसीन अपतटीय क्षेत्र
  3. असम राज्य में ब्रह्मपुत्र तथा सूरमा घाटी
  4. गुजरात में कच्छ की खाड़ी व बड़ौदा, सूरत, भड़ौच, मेहसाना व खेड़ा जिले
  5. कृष्णा, कावेरी व गोदावरी बेसिनों के अपतटीय क्षेत्र
  6. राजस्थान में बाड़मेर जिला।

प्रश्न 16.
भारत की पाँच प्रमुख तेल शोधनशालाओं के नाम व क्षमता लिखिए।
उत्तर:
भारत की पाँच प्रमुख तेल शोधनशालाएँ तथा उनकी शोधन क्षमता:

तेल शोधनशाला वर्तमान शोधन क्षमता (टन)
1. रिलायन्स इण्डस्ट्रीज लि. (मोती खावड़ी, जामनगर) 33.0
2. रिलायन्स पेट्रोलियम लि. (जामनगर) 27.0
3. एस्सार ऑयल लि. (वादीनर) 18.0
4. मंगलौर रिफाइनरी एण्ड पेट्रो केमिकल्स लि. (मंगलौर) 15.0
5. इण्डियन ऑयल कॉपेरिशन लि. (पानीपत) 15:0

प्रश्न 17.
भारत में जल विद्युत की पाँच प्रमुख परियोजनाओं के नाम लिखिए।
उत्तर:
भारत की पाँच प्रमुख जल विद्युत परियोजनाओं में –

  1. नागार्जुन सागर
  2. श्रीसलेम
  3. शिवासमुद्रम
  4. भाखड़ा-नॉगल व
  5. नर्मदा सागर परियोजना शामिल हैं।

प्रश्न 18.
परमाणु ऊर्जा के प्रमुख खनिज पदार्थों के नाम लिखिए।
उत्तर:
परमाणु ऊर्जा के प्रमुख खनिजों में –

  1. यूरेनियम
  2. थोरियम
  3. इल्मेनाइट
  4. बेरिलियम
  5. ग्रेफाइट शामिल है।

प्रश्न 19.
भारत के पाँच सौर ऊर्जा उत्पादक राज्यों के नाम लिखिए।
उत्तर:
भारत के पाँच सौर ऊर्जा उत्पादक राज्यों में –

  1. गुजरात
  2. राजस्थान
  3. आन्ध्र प्रदेश
  4. महाराष्ट्र
  5. तमिलनाडु शामिल हैं।

प्रश्न 20.
सौर ऊर्जा का उपयोग लिखिए।
उत्तर:
सौर ऊर्जा का उपयोग पानी गर्म करने, फसलें पकाने, भोजन बनाने तथा विद्युत उत्पादन करने के लिए विद्युत पम्प चलाने हेतु घरेलू उपयोग, औद्योगिक उपयोग आदि में किया जाता है।

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 लघूत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 21.
भारत में ऊर्जा संसाधनों की स्थिति लिखिए।
उत्तर:
भारत में ऊर्जा संसाधनों को सन्तोषजनक नहीं कहा जा सकता। देश में उत्पादित कुल विद्युत शक्ति उत्पादन का अधिकांश भाग कोयला, पेट्रोलियम, प्राकृतिक गैस, परमाणु ऊर्जा तथा जल विद्युत जैसे परम्परागत ऊर्जा स्रोतों से प्राप्त किया जा रहा है। सन् 2011 में देश में उत्पादित कुल विद्युत शक्ति का 64.1 % भाग तापीय विद्युत (कोयला), 32.21% प्रतिशत भाग जल विद्युत तथा शेष 3.7 % परमाणु ऊर्जा स्रोतों से प्राप्त किया जा रहा था। स्पष्ट है कि कोयला आज भी भारत में तापीय विद्युत का सबसे बड़ा साधन बना हुआ है। दूसरी ओर देश में सौर ऊर्जा, पवन ऊर्जा, जैविक ऊर्जा तथा ज्वारीय ऊर्जा जैसे गैर-परम्परागत ऊर्जा स्रोतों का अति सीमित स्तर पर विकास हुआ है।

प्रश्न 22.
भारत में जल विद्युत के उत्पादन, वितरण व सम्भावनाओं का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
जल विद्युत का उत्पादन:
भारत में सन् 2010 में लगभग 164 हजार मेगावाट जल विद्युत का उत्पादन था। सन् 2011 में देश में उत्पादित कुल विद्युत शक्ति का 32.2 % भाग जल विद्युत से प्राप्त हो रहा था।

जल विद्युत का वितरण:
भारत के अग्रणी जल विद्युत उत्पादक राज्यों में आन्ध्र प्रदेश-तेलंगाना, कर्नाटक तथा महाराष्ट्र राज्य सम्मिलित हैं, जहाँ सन् 2013-14 में देश में उत्पादित कुल जल विद्युत उत्पादन का क्रमशः 11.18 %, 11.08 % तथा 10.16 % भाग उत्पादित किया गया। पंजाब (8.19%), तमिलनाडु (6.59%), ओडिशा (6.31%), केरल (6.04%), मध्य प्रदेश (5.96%), हिमाचल प्रदेश (5.14%) तथा पूर्वोत्तर राज्य (10.14%) देश के अन्य जल विद्युत उत्पादक राज्य हैं।

सम्भावनाएं:
सन् 2016 में भारत की कुल जल विद्युत सम्भाव्य क्षमता 42.8 हजार मेगावाट थी, जिसका केवल 14.4 % भाग ही विकसित किया जा सका है। भारत की लगभग 60 % सम्भावित जल विद्युत शक्ति के स्रोत हिमालय पर्वत से उद्गमित होने वाली नदियों में हैं। इन प्रमुख नदियों में ब्रह्मपुत्र, गंगा, सिन्धु तथा इनकी सहायक नदियाँ हैं।

दक्षिण भारत में उत्तर-पश्चिम व पश्चिम से दक्षिण-पूर्व व पूर्व की ओर बहने वाली नदियों में भारत की सम्भावित जल शक्ति का 20 % भाग निहित है तथा शेष 20 % सम्भावित जल शक्ति पश्चिमी घाट तथा मध्य भारत से उद्गमित होकर पूर्व से पश्चिम की ओर प्रवाहित नदियों में निहित है।

प्रश्न 23.
भारत में सौर ऊर्जा व पवन ऊर्जा का विवरण लिखिए।
उत्तर:
भारत में सौर ऊर्जा:
उष्ण कटिबन्धीय देश होने के कारण भारत में सौर ऊर्जा की अपार सम्भावनाएँ निहित हैं। देश के अधिकांश भाग एक वर्ष में 300 से भी अधिक दिन खुली व स्वच्छ धूप वाले होते हैं। भारत में प्रति वर्ष 5000 ट्रिलियने किलोवाट/घन्टी सूर्य विकिरण प्राप्त होता है। वर्तमान में भारत में 66.5 मेगावाट क्षमता की 10.4 लाख से अधिक फोटोवाल्टिक प्रणालियाँ विकसित की गई हैं।

देश में सौर ऊर्जा से संचालित 6 लाख घरेलू प्रकाश उपकरण, 8 लाख सोलर लालटेन, 90 हजार सौर ऊर्जा संचालित सड़क लाइटें तथा 141 सोलर पावर पेक स्थापित किए जा चुके हैं। सौर ऊर्जा उत्पादन करने वाले राज्यों में गुजरात देश का अग्रणी (देश की कुल सौर ऊर्जा का लगभग 67%) राज्य है। जबकि राजस्थान (20.2%), आन्ध्र प्रदेश (2.2%), महाराष्ट्र (20%) तथा तमिलनाडु (1.5%) देश के अन्य सौर ऊर्जा उत्पादक राज्य हैं।

भारत में पवन ऊर्जा:
भारत में पवन ऊर्जा की कुल उत्पादन क्षमता 45 हजार मेगावाट है। देश के पवन ऊर्जा उत्पादक राज्यों में तमिलनाडु (उत्पादन-6007 मेगावाट) का प्रथम स्थान है। इस राज्य में एशिया की विशालतम पवन ऊर्जा इकाई मुप्पडाल (उत्पादन क्षमता 150 मेगावाट) नामक स्थान पर कार्यरत है जबकि गुजरात (2884 मेगावाट), महाराष्ट्र (2310 मेगावाट), कर्नाटक (1730 मेगावाट) तथा राजस्थान (1524 मेगावाट) अन्य प्रमुख पवन ऊर्जा उत्पादक राज्य हैं।

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 निबन्धात्मक प्रश्न

प्रश्न 24.
भारत में कोयला संसाधन पर एक लेख लिखिए।
उत्तर:
कोयले को उद्योगों की जननी, काला सोना तथा शक्ति का प्रतीक कहा जाता है। भारत विश्व में कोयला उत्पादन की दृष्टि से चीन व संयुक्त राज्य अमेरिका के बाद तीसरा स्थान रखता है। भारत विश्व का लगभग 5% कोयला प्रतिवर्ष उत्पादित करता है।

भारत में कोयला उत्पादक क्षेत्र:
भारत में कोयले के जमाव प्रमुख रूप से गोण्डवानी काल तथा टरशियरी काल की चट्टानों में मिलते हैं, लेकिन उत्पादन एवं उपयोग की दृष्टि से गोण्डवाना काल के कोयले का सर्वाधिक महत्त्व है। देश के कुल कोयला उत्पादन में लगभग 98% योगदान गोण्डवाना काल की चट्टानों से प्राप्त कोयले का रहता है। गोण्डवाना काल का कोयला प्रमुख रूप से निम्नलिखित नदी घाटियों में मिलता है –

1. गोदावरी नदी घाटी क्षेत्र:
आन्ध्र प्रदेश-तेलंगाना राज्य में गोदावरी तथा तन्दूरी नदियों के मध्य 250 वर्ग किमी क्षेत्रफल पर कोयला संम्पन्न क्षेत्र का विस्तार है। गोदावरी नदी घाटी में भारत के कुल कोयला संचित भण्डारों का लगभग 7.5% भाग है। सिंगरेनी इस घाटी का सबसे बड़ा कोयला क्षेत्र है। आदिलाबाद, करीमनगर, खम्माम, वांरगल तथा पश्चिमी गोदावरी इस नदी घाटी में विस्तृत कोयला उत्पादक जिले हैं। आन्ध्र प्रदेश में प्रतिवर्ष लगभग 332 लाख टन कोयला उत्पादित किया जाता है।

2. महानदी घाटी क्षेत्र:
इस नदी घाटी के कोयला क्षेत्र उड़ीसा राज्य में विस्तृत हैं। सन् 2012-13 में उड़ीसा राज्य में देश का 16.63% कोयला उत्पादित किया गया। इस राज्य में ढंकनाल जिले में स्थित तालचर कोयला क्षेत्र महत्त्वपूर्ण कोयला उत्पादक क्षेत्र हैं।

3. दामोदर घाटी क्षेत्र:
यह देश का सबसे बड़ा कोयला उत्पादक क्षेत्र है जहाँ से प्रतिवर्ष देश का 50% से अधिक कोयला प्राप्त किया जाता है। दामोदर घाटी के कोयला क्षेत्र झारखण्ड तथा पश्चिमी बंगाल राज्यों में विस्तृत हैं। पश्चिमी बंगाल के वर्धमान, बाँकुरा तथा पुरलिया जिलों में रानीगंज देश का सबसे बड़ा कोयला उत्पादक क्षेत्र हैं। झारखण्ड राज्य में झरिया सबसे महत्त्वपूर्ण कोयला उत्पादक क्षेत्र है, जहाँ उत्तम किस्म का बिटुमिनस कोयला उत्पादित किया जाता है। गिरिडीह, बोकारो, रामगढ़, उत्तरी तथा दक्षिणी करनपुरा, औरंगा, हुतार तथा डाल्टनगंज इस राज्य के अन्य कोयला उत्पादक क्षेत्र हैं। कोयला उत्पादन में झारखण्ड राज्य का देश में प्रथम स्थान है।

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4. सोन नदी घाटी क्षेत्र:
यह घाटी क्षेत्र में मध्य प्रदेश राज्य में विस्तृत है, जहाँ उमरिया, सोहागपुर तथा सिंगरौली प्रमुख कोयला उत्पादक क्षेत्र हैं। इनमें शहडोल तथा सीधी जनपदों में विस्तृत सिंगरौली सर्वप्रमुख कोयला उत्पादक क्षेत्र है।

5. वर्धा नदी घाटी क्षेत्र:
महाराष्ट्र राज्य के चन्द्रपुर, बल्लारपुर, यवतमाल, बरोरा तथा नागपुर जिलों में विस्तृत कोयला क्षेत्र इसे घाटी क्षेत्र के प्रमुख कोयला क्षेत्र हैं। इन कोयला क्षेत्रों से घटिया किस्म का कोयला चूरे के रूप में प्राप्त किया जाता है।

6. अन्य कोयला क्षेत्र:
(i) छत्तीसगढ़ कोयला क्षेत्र:
सन् 2012-13 में कुल कोयला उत्पादन का लगभग 17% भाग छत्तीसगढ़ राज्य में उत्पादित किया गया तथा देश के कोयला उत्पादक राज्यों में छत्तीसगढ़ का स्थान झारखण्ड के बाद दूसरा रहा। रामकोला, तातापानी, कोरबा, झिलमिल, विश्रामपुर, लखनपुर तथा चिरिमिरी इस राज्य के प्रमुख कोयला उत्पादक क्षेत्र हैं।

(ii) सतपुड़ा कोयला क्षेत्र:
मध्य प्रदेश के अधिकांश कोयला क्षेत्र सतपुड़ा पहाड़ी क्षेत्र में मिलते हैं। सतपुड़ा के उत्तरी व निचले ढालों पर मोहपानी तथा इसी के समीपवर्ती भागों में कान्हन घाटी क्षेत्र के अलावा बैतूल जिले की पाथरखेड़ा प्रमुख कोयला क्षेत्र है।

प्रश्न 25.
भारत के गैर-परम्परागत ऊर्जा स्रोतों पर एक लेख लिखिए।
उत्तर:
कोयला तथा पेट्रोलियम जैसे परम्परागत ऊर्जा संसाधन सीमित व समाप्त होने योग्य के साथ-साथ पर्यावरण के लिए प्रदूषणकारी होते हैं। यही कारण है कि भारत में ऊर्जा के नव्यकरणीय गुण रखने वाले ऊर्जा के गैर-परम्परागत स्रोतों के उपयोग पर अधिक बल दिया जा रहा है। सन् 1982 में भारत में ऊर्जा मन्त्रालय के अधीन गैर-परम्परागत ऊर्जा विभाग की स्थापना की गई जबकि सन् 1987 में विश्व बैंक की सहायता से भारतीय नव्यकरणीय विकास एजेन्सी (IRDA) की स्थापना की गई।

भारत में इस संस्था द्वारा सौर ऊर्जा, पवन ऊर्जा, जैविक ऊर्जा, महासागरीय ऊर्जा तथा हाइड्रोजन ऊर्जा जैसे गैर-परम्परागत ऊर्जा स्रोतों के विकास तथा उपयोग पर बल दिया जा रहा है। इस सन्दर्भ में भारत के तीन गैर-परम्परागत ऊर्जा स्रोतपवन ऊर्जा, सौर ऊर्जा तथा जैविक ऊर्जा की संक्षिप्त विवेचना निम्नानुसार है –

1. पवन ऊर्जा:
पवन की गति से उत्पन्न ऊर्जा पवन ऊर्जा कहलाती है। पवन ऊर्जा पूर्णरूपेण प्रदूषण मुक्त एवं ऊर्जा का असमाप्य स्रोत है। पवन की गतिज ऊर्जा को टरबाइन के माध्यम से विद्युत ऊर्जा में बदला जाता है। पवन ऊर्जा का प्रमुख उपयोग कुओं से पानी निकालने, जल सिंचाई एवं विद्युत उत्पादन में किया जाता है। ऊर्जा मन्त्रालय के एक अनुमान के अनुसार भारत पवन ऊर्जा की कुल उत्पादन क्षमता 45 हजार मेगावाट है।

एशिया महाद्वीप की सबसे बड़ी (150 मेगावाट उत्पादन क्षमता) पवन ऊर्जा परियोजना तमिलनाडु राज्य के मुप्पडाल नामक स्थान पर कार्यरत है। पवन ऊर्जा उत्पादन की दृष्टि से तमिलनाडु राज्य का देश में प्रथम स्थान है जबकि गुजरात, महाराष्ट्र, कर्नाटक तथा राजस्थान अन्य पवन ऊर्जा उत्पादक राज्य हैं। भारत में पवन ऊर्जा के अग्रणी उत्पादक राज्य:

राज्य उत्पादन (मेगावाट में)
तमिलनाडु 6007
गुजरात 2884
महाराष्ट्र 2310
कर्नाटक 1730
राजस्थान 1524

2. सौर ऊर्जा:
उष्ण कटिबन्धीय देश होने के कारण भारत सौर ऊर्जा उत्पादन की अपार सम्भावनाएँ रखता है। देश के अधिकांश भागों में वर्ष के 300 दिनों से भी अधिक दिनों में पर्याप्त धूप की उपलब्धता रहती है तथा यहाँ प्रतिवर्ष 5 हजार ट्रिलियन किलोवाट प्रति घण्टा सौर विकिरण प्राप्त होता है। वर्तमान में भारत में सौर ऊर्जा का उपयोग पानी गर्म करने, भोजन बनाने, विद्युत पम्प चलाने तथा फसलों के पकाने हेतु किया जा रहा है।

आन्ध्र प्रदेश के तिरुपति बालाजी नामक देवस्थान पर विश्व की सबसे बड़ी सौर ऊर्जा संचालित भोजन प्रणाली कार्यरत है। राजस्थान के बिड़ला इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी एण्ड साइंस, पिलानी में देश का सबसे बड़ा सौर ऊर्जा वाटर हीटर स्थापित है। भारत के ऊर्जा मन्त्रालय द्वारा राष्ट्रीय स्तर पर सौर तापीय ऊर्जा कार्यक्रम एवं सौर फोटोवाल्टिक कार्यक्रम संचालित किए जा रहे हैं। सन् 2010 तक देश में 15 लाख वर्ग मीटर सौर ऊर्जा संग्राहक क्षेत्र विकसित किया जा चुका है, जिसके अन्तर्गत 66.5 मेगावाट क्षमता की 10.4 लाख से अधिक फोटोवाल्टिक प्रणालियाँ विकसित की गई हैं।

वर्तमान में देश के 60 नगरों को सौर ऊर्जा नगरों के रूप में भारत सरकार द्वारा विकसित किया जा रहा है। साथ ही 11 जनवरी, 2010 को भारत में प्रारम्भ किये गए जवाहरलाल नेहरू सोलर मिशन के अन्तर्गत सन् 2022 तक 2000 मेगावाट सौर ऊर्जा के उत्पादन का लक्ष्य भारत सरकार द्वारी रखा गया है। सन् 2012-13 में भारत के प्रमुख राज्यों में सौर ऊर्जा का उत्पादन निम्नवत् रहा –

राज्य उत्पादक (मेगावाट) कुल सौर ऊर्जा उत्पादन का प्रतिशत
गुजरात 654.8 66.9
राजस्थान 197.5 20.2
आन्ध्र प्रदेश 21.9 2.2
महाराष्ट्र 20.0 2.0
तमिलनाडु 15.0 1.5

3. जैविक ऊर्जा:
जैविक पदार्थों जैसे कृषि अवशेष, नगरपालिकाओं द्वारा एकत्र अपशिष्ट, कृषि व वन अपशिष्ट, औद्योगिक व अन्य अपशिष्टों से प्राप्त ऊर्जा को जैव ऊर्जा कहा जाता है। इस जैविक ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा, ताप ऊर्जा तथा खाना पकाने वाली गैस के रूप में परिवर्तित किया जा सकता है। इस ऊर्जा के उत्पादन में एक ओर अपशिष्ट व कूड़ा-करकट का सुचारु निपटान होता है, तो दूसरी ओर उससे उपयोगी ऊर्जा की भी प्राप्ति होती है।

जैविक ऊर्जा ग्रामीण क्षेत्रों के आर्थिक जीवन को बेहतर बनाने में सहयोगी तो होती ही है साथ ही पर्यावरण प्रदूषण घटाने तथा जलावन लकड़ी की बचत करने में इसका महत्त्वपूर्ण योगदान हो सकता है। भारत सरकार ने जैविक ऊर्जा के क्षेत्र में निम्नलिखित कार्य किए हैं –

  1. बायोडीजल निर्माण हेतु सन् 2015 तक 166 लाख हेक्टेयर कृषि भूमि पर जेट्रोफा नामक फसल के रोपण का लक्ष्य रखा गया है।
  2. सन् 2013 तक देश में 1248 मेगावाट जैविक ऊर्जा उत्पादित की गई।
  3. कूड़े-कचरे से जैविक ऊर्जा उत्पादन हेतु तानकू (आन्ध्र प्रदेश), फैजाबाद (उत्तर प्रदेश), मुक्तसर (पंजाब), अंकलेश्वर (गुजरात) तथा बेलगाम (कर्नाटक) नामक स्थानों पर ऊर्जा संयन्त्र स्थापित किए गए। इसी प्रकार के संयन्त्र हैदराबाद, विजयवाड़ा तथा लखनऊ महानगरों में कार्यरत हैं।
  4. चेन्नई में 250 किलोवाट उत्पादन क्षमता का संयन्त्र सब्जी बाजार के कचरे का उपयोग कर रहा है।
  5. लुधियाना में पशुओं के अपशिष्टों पर आधारित ऊर्जा संयन्त्र, सूरत में सीवेज जल के शोधन संयन्त्र से प्राप्त बायोगैस से ऊर्जा उत्पादन तथा विजयवाड़ा में सब्जी बाजार के कचरे से विद्युत उत्पादन संयन्त्र कार्यरत हैं।

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 अन्य महत्त्वपूर्ण प्रश्नोत्तर

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 बहुचयनात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
भारत में सर्वाधिक कोयले के जमाव का क्षेत्र कौन-सा है?
(अ) दामोदर नदी घाटी
(ब) महानदी घाटी
(स) गोदावरी नदी घाटी
(द) सोन नदी घाटी
उत्तर:
(अ)

प्रश्न 2.
भारत में कोयला उत्पादन की दृष्टि से कौन-सा राज्य अग्रणी है?
(अ) झारखण्ड
(ब) मध्य प्रदेश
(स) छत्तीसगढ़
(द) ओडिशा
उत्तर:
(अ)

प्रश्न 3.
पनकाबाड़ी क्षेत्र (पश्चिम बंगाल) में निम्नलिखित में से किस खनिज का खनन किया जाता है?
(अ) पेट्रोलियम
(ब) लौह अयस्क
(स) मैंगनीज
(द) कोयला
उत्तर:
(द)

प्रश्न 4.
भारत में कच्चे तेल का वृहत्तम भण्डार पाया जाता है –
(अ) असम में
(ब) गुजरात में
(स) पूर्वी अपतट में
(द) पश्चिमी अपतट में
उत्तर:
(द)

प्रश्न 5.
निम्नलिखित में से ऊर्जा का परम्परागत स्रोत नहीं है –
(अ) कोयला
(ब) पेट्रोलियम
(स) प्राकृतिक गैस
(द) सौर ऊर्जा
उत्तर:
(द)

प्रश्न 6.
भारत में खनन किया जाने वाला कोयला निम्नलिखित में से किस किस्म का है?
(अ) एन्थेसाइट
(ब) बिटुमिनस
(स) लिग्नाइट
(द) पीट
उत्तर:
(ब)

प्रश्न 7.
भारत के दो-तिहाई से अधिक कोयला भण्डार पाए जाते हैं –
(अ) गोदावरी घाटी में
(ब) दामोदर घाटी में
(स) ब्रह्मपुत्र घाटी में
(द) महानदी घाटी में
उत्तर:
(ब)

प्रश्न 8.
निम्न में से किसमें भारत के अधिकतम पेट्रोलियम भण्डार हैं?
(अ) बम्बई हाई
(ब) खम्भात की खाड़ी
(स) ब्रह्मपुत्र की घाटी
(द) अण्डमान एवं निकोबार द्वीप समूह
उत्तर:
(अ)

प्रश्न 9.
भारत में अधिकांश तेलशोधक कारखाने समुद्री बन्दरगाहों के निकट स्थित हैं, क्योंकि –
(अ) अधिकतर कच्चा तेल अन्य देशों को निर्यात किया जाता है।
(ब) कच्चे तेल के शोधन हेतु सागरीय जल की आवश्यकता पड़ती है।
(स) भारत को कच्चे तेल की अधिक आवश्यकता पड़ती है जो अधिकांशतया आयात किया जाता है।
(द) खनिज तेल अधिकतर समुद्री बन्दरगाहों के निकट ही मिलता है।
उत्तर:
(स)

प्रश्न 10.
निम्नलिखित में से नवीकरण योग्य ऊर्जा स्रोत है –
(अ) कोयला
(ब) पेट्रोलियम
(स) सौर ऊर्जा
(द) प्राकृतिक गैस
उत्तर:
(स)

प्रश्न 11.
भारत में सबसे लम्बी पाइपलाइन है –
(अ) हजीरा-विजयपुर-जगदीशपुर (HBJ) पाइप लाइन
(ब) बॉम्बे हाई, मुम्बई-अंकलेश्वर-कोयली पाइपलाइन
(स) नूनमती-सिलीगुड़ी पाइपलाइन
(द) अंकलेश्वर-कोयली पाइपलाइन
उत्तर:
(अ)

प्रश्न 12.
निम्नलिखित में से कहाँ तेल शोधनशाला नहीं है?
(अ) कोयली
(ब) नूनमती
(स) हटिया
(द) बरौनी
उत्तर:
(स)

प्रश्न 13.
निम्नलिखित में से कौन-सा परमाणु विद्युत गृह-राज्य का युग्म सुमेलित नहीं है?
(अ) कैगा-कर्नाटक
(ब) कलपक्कम-आन्ध्र प्रदेश
(स) रावतभाटा-राजस्थान
(द) कुदानकुलम-तमिलनाडु
उत्तर:
(ब)

प्रश्न 14.
निजी क्षेत्र में स्थापित निम्नलिखित में से भारत की कौन-सी तेल शोधनशाला सबसे बड़ी है?
(अ) रिलायन्स इण्डस्ट्रीज लि.
(ब) रिलायन्स पेट्रोलियम लि.
(स) एस्सार ऑयल लिं.
(द) एच पी सी एल लि.
उत्तर:
(अ)

प्रश्न 15.
नर्मदा सागर जल विद्युत परियोजना अवस्थित है –
(अ) गुजरात में
(ब) महाराष्ट्र में
(स) राजस्थान में
(द) मध्य प्रदेश में
उत्तर:
(द)

प्रश्न 16.
निम्नलिखित में से किस परमाणु विद्युत गृह की विद्युत उत्पादन क्षमता सर्वाधिक है?
(अ) कैगा
(ब) कलपक्कम
(स) कुदानकुलम
(द) तारापुर
उत्तर:
(स)

प्रश्न 17.
निम्नलिखित में से भारत का कौन-सा राज्य पवन ऊर्जा उत्पादन में अग्रणी है?
(अ) महाराष्ट्र
(ब) तमिलनाडु
(स) गुजरात
(द) राजस्थान
उत्तर:
(ब)

प्रश्न 18.
भारत में सौर ऊर्जा में अग्रणी दो राज्यों के नाम हैं –
(अ) राजस्थान-महाराष्ट्र
(ब) गुजरात-राजस्थान
(स) गुजरात-महाराष्ट्र
(द) गुजरात-तमिलनाडु
उत्तर:
(ब)

प्रश्न 19.
राजस्थान का सबसे बड़ा सौर ऊर्जा वाटर हीटर कार्यरत है –
(अ) जयपुर में
(ब) जैसलमेर में
(स) अलवर में
(द) पिलानी में
उत्तर:
(द)

प्रश्न 20.
निम्नलिखित में किस एक स्थान पर कूड़े-कचरे से विद्युत उत्पादन करने का संयन्त्र नहीं लगा है?
(अ) लुधियाना
(ब) तानकू
(स) बेलगाम
(द) फैजाबाद
उत्तर:
(अ)

सुमलेन सम्बन्धी प्रश्न

निम्न में स्तम्भ अ को स्तम्भ ब से सुमेलित कीजिए –

स्तम्भ (अ)
(क्षेत्र)
स्तम्भ (ब)
(सम्बन्ध)
(i) रावतभाटा (अ) सौर ऊर्जा संचालन मंदिर
(ii) डिगबोई (ब) जल विद्युत परियोजना
(ii) डिगबोई (स) पवन ऊर्जा का प्रमुख केन्द्र
(iv) शिवासमुद्रम (द) कोयला निक्षेप क्षेत्र
(v) मुप्पडाल (य) पेट्रोलियम केन्द्र
(vi) तिरूपति बालाजी धाम (र) आणविक ऊर्जा केन्द्र

उत्तरमाला:
(i) र (ii) य (iii) द (iv) ब (v) स (vi) अ

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 अतिलघूत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
ऊर्जा संसाधन से क्या तात्पर्य है?
उत्तर:
ऐसे सभी संसाधन जिनके ऊष्मा या ऊर्जा की प्राप्ति होती है उन्हें ऊर्जा संसाधन कहते हैं।

प्रश्न 2.
जीवाश्म ईंधन क्या होता है?
उत्तर:
जीवाश्म ईंधन को खनिज ईंधन के नाम से भी जाना जाता है। यह पृथ्वी के आन्तरिक भाग में लाखों वर्षों से दबे प्राणियों तथा पादप जीवों के अवशेषों से प्राप्त होता है, जैसे–कोयला तथा पेट्रोलियम।

प्रश्न 3.
भारत के दो मुख्य ऊर्जा खनिजों के नाम लिखिए।
उत्तर:
1. कोयला
2. पेट्रोलियम्

प्रश्न 4.
कोयले का उपयोग बताइए।
उत्तर:
कोयले का मुख्य उपयोग ताप विद्युत उत्पादन एवं लौह-अयस्क के प्रगलन में किया जाता है।

प्रश्न 5.
भारत में कौन-सी किस्म का कोयला 7 प्रमुख रूप से मिलता है?
उत्तर:
बिटुमिनस कोयला।

प्रश्न 6.
पश्चिम बंगाल के सबसे बड़े कोयला क्षेत्र का नाम बताइए।
उत्तर:
रानीगंज।

प्रश्न 7.
झारखण्ड राज्य का सबसे बड़ा कोयला क्षेत्र कौन-सा है?
उत्तर:
झरिया।

प्रश्न 8.
भारत में कोयला कौन-कौन-से भूगर्भिक कालों की शैल क्रमों में पाया जाता है?
उत्तर:
1. गोण्डवाना निक्षेप
2. टरशियरी निक्षेप।

प्रश्न 9.
भारत में गोण्डवाना कोयला क्षेत्र कौन-कौन से हैं?
उत्तर:
भारत में गोण्डवाना कोयला मुख्य रूप से पश्चिम बंगाल, झारखण्ड, उड़ीसा, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र एवं आन्ध्र प्रदेश राज्यों में पाया जाता है।

प्रश्न 10.
टरशियरी कोयला भारत के किन-किन राज्यों में पाया जाता है?
उत्तर:
टरशियरी कोयला प्रमुख रूप से भारत के उत्तर-पूर्वी राज्यों–असम, अरुणाचल प्रदेश, मेघालय एवं नागालैण्ड में पाया जाता है।

प्रश्न 11.
भारत में सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण गोण्डवाना कोयला क्षेत्र किस नदी घाटी में स्थित है?
उत्तर:
दामोदर घाटी में।

प्रश्न 12.
राजस्थान में लिग्नाइट किस्म का कोयला मुख्यतः कहाँ मिलता है।
उत्तर:
राजस्थान में लिग्नाइट किस्म का कोयला मुख्यत: बीकानेर जिले के पलाना नामक स्थान पर मिलता है।

प्रश्न 13.
भारत किन-किन देशों को कोयले का निर्यात करता है?
उत्तर:
भारत अपने पड़ोसी देशों बांग्लादेश, नेपाल, भूटान, म्यांमार एवं श्रीलंका को कोयले का निर्यात करता है।

प्रश्न 14.
भारत में कोयला कहाँ से आयात किया जाता है?
उत्तर:
भारत में उच्च कोटि का कोकिंग कोयला आस्ट्रेलिया, कभीडा व यूरोपीय देशों से आयात किया जाता है।

प्रश्न 15.
पेट्रोलियम की प्राप्ति किन चट्टानों से होती है?
उत्तर:
पेट्रोलियम की प्राप्ति अवसादी चटानों से होती है।

प्रश्न 16.
ऑयल इण्डिया लिमिटेड होता है?
उत्तर:
भारत में खनिज तेल व प्राकृतिक गैस की “खोज, खुदाई व उत्पादन करके उन्हें तेल शोधन कारखानों व उपभोक्ताओं तक पहुँचाने का कार्य ऑयल इण्डिया लिमिटेड करता है।

प्रश्न 17.
असम के प्रमुख तेल उत्पादक क्षेत्रों के नाम लिखिए।
उत्तर:
असम के प्रमुख तेल उत्पादक क्षेत्र-डिग्बोई, नाहरकटिया, हुगरीजन, सूरमा घाटी तथा मोरान है।

प्रश्न 18.
गुजरात के प्रमुख तेल उत्पादक (पेट्रोलियम) क्षेत्रों के नाम लिखिए।
उत्तर:
गुजरात के प्रमुख तेल उत्पादक क्षेत्र अंकलेश्वर, कलोल, मेहसाना, नवगाम, कोथाना एवं सानंद आदि हैं।

प्रश्न 19.
बम्बई हाई किसके लिए विख्यात है?
उत्तर:
बम्बई हाई पेट्रोलियम के उत्पादन के लिए विख्यात है।

प्रश्न 20.
भारत में निजी क्षेत्र में स्थापित तेल शोधनशालाओं के नाम लिखिए।
उत्तर:
निजी क्षेत्र की तेल शोधनशालाएँ –

  1. रिलाइन्स इण्डस्ट्रीज लि.-मोतीखावड़ी व जामनगर।
  2. रिलाइन्स पेट्रोलियम लि.-एस.ई.जेड, जामनगर।
  3. एस्सार ऑयल लि.-वादीनार।

प्रश्न 21.
भारत में कितनी तेल शोधन शालाएँ हैं?
उत्तर:
भारत में 22 तेल शोधन शालाएँ हैं। इनमें से 17 सार्वजनिक क्षेत्र में, 2 संयुक्त क्षेत्र में तथा 3 निजी क्षेत्र में कार्यरत हैं।

प्रश्न 22.
भारत की प्रथम तेल पाइपलाइन का नाम व लम्बाई लिखिए।
उत्तर:
असम में नाहरकटिया से नूनमती होती हुई बरौनी (बिहार) तक-लम्बाई 1152 किमी।

प्रश्न 23.
भारत की द्वितीय पाइप लाइन कौन-सी हैं?
उत्तर:
भारत की द्वितीय प्रमुख पाइप लाइन मुम्बई हाई व गुजरात के तेल उत्पादक क्षेत्रों को कोयली तेल शोधनशाला से जोड़ती है।

प्रश्न 24.
राजस्थान राज्य की प्रमुख जल विद्युत परियोजना के नाम लिखिए।
उत्तर:
1. राणा प्रताप सागर
2. जवाहर सागर
3. माहीबजाज सागर।

प्रश्न 25.
कावेरी नदी पर स्थापित जल विद्युत परियोजनाओं के नाम लिखिए।
उत्तर:
1. शिवासमुद्रम
2. शिमला
3. जोग
4. मैटूर।

प्रश्न 26.
परमाणु ऊर्जा का विकास क्यों किया गया है?
उत्तर:
देश में ऊर्जा की बढ़ती हुई माँग और सीमित संसाधनों को देखते हुए परमाणु ऊर्जा का विकास किया गया है।

प्रश्न 27.
परमाणु शक्ति उत्पादन के लिए किन खनिजों का उपयोग किया जाता है?
उत्तर:
परमाणु शक्ति उत्पादन के लिए रेडियोधर्मी खनिज यूरेनियम, थोरियम, बेरिलियम, इल्मेनाइट, जिरकन, ग्रेफाइट तथा एण्टीमनी का उपयोग किया जाता है।

प्रश्न 28.
भारत में परमाणु कार्यक्रम के शुभारम्म कर्ता कौन थे?
उत्तर:
भारत में परमाणु कार्यक्रम के शुभारम्भ कर्ता डॉ. होमी जहाँगीर भाभा थे।

प्रश्न 29.
भारतीय नव्यकरणीय विकास एजेन्सी का प्रमुख कार्य क्या है?
उत्तर:
यह संस्था भारत में सौर ऊर्जा, पवन ऊर्जा, जैविक ऊर्जा, महासागरीय ऊर्जा, हाइड्रोजन ऊर्जा के विकास व उपयोग पर बल देने का कार्य करती है।

प्रश्न 30.
भारत की प्रमुख पवन ऊर्जा परियोजना का नाम लिखिए।
उत्तर:
तमिलनाडु में मुप्पडाल।

प्रश्न 31.
विश्व की सबसे बड़ी सौर ऊर्जा संचालित भोजन निर्माण प्रणाली कहाँ है?
उत्तर:
आन्ध्र प्रदेश के तिरुपति बालाजी देवस्थान पर।

प्रश्न 32.
सब्जी के कचरे से ऊर्जा प्राप्त करने के संयन्त्र भारत में किन स्थानों पर कार्यरत हैं?
उत्तर:
वियजवाड़ा तथा चेन्नई में सब्जी के कचरे से ऊर्जा उत्पादन करने वाले संयन्त्र कार्यरत हैं।

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 लघूत्तरात्मक प्रश्न (SA-I)

प्रश्न 1.
ऊर्जा संसाधनों की उपयोगिता स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
ऊर्जा संसाधन किसी देश के सर्वांगीण विकास की महत्त्वपूर्ण कड़ी होते हैं। मानव सभ्यता और उसका आर्थिक विकास ऊर्जा संसाधनों के उपयोग से जुड़ा हुआ है। किसी भी देश के औद्योगिक विकास हेतु ऊर्जा या शक्ति के संसाधन एक आवश्यक तत्व हैं। आधुनिक औद्योगिक युग में शक्ति के साधन ही किसी भी देश की आर्थिक प्रगति का सूचक और आधार होते हैं। अत: ऊर्जा संसाधनों का अत्यधिक महत्त्व है।

प्रश्न 2.
भारत के ऊर्जा स्रोतों को वर्गीकृत कीजिए।
उत्तर:
भारत के ऊर्जा स्रोतों को निम्नलिखित दो प्रमुख वर्गों में विभक्त किया जाता है –

  1. परम्परागत ऊर्जा स्रोत
  2. गैर-परम्परागत ऊर्जा स्रोत

इन दोनों ऊर्जा स्रोतों को निम्नलिखित प्रकार से वर्गीकृत किया गया है –
RBSE Solutions for Class 12 Geography Chapter 17 ऊर्जा संसाधन
प्रश्न 3.
कार्बन की मात्रा के आधार पर कोयले के प्रकारों को लिखिए।
उत्तर:
विश्व स्तर पर कार्बन की मात्रा के आधार पर कोयले के निम्नलिखित चार प्रकार मिलते हैं –

  1. एन्थेसाइट – कार्बन की मात्रा 80 से 90% तक।
  2. बिटुमिनस – कार्बन की मात्रा 75 से 80% तक।
  3. लिग्नाइट – कार्बन की मात्रा 50% तक।
  4. पीट – कार्बन की मात्रा 50% से कम।

प्रश्न 4.
भारत में टर्शियरी काल के कोयला क्षेत्रों का संक्षिप्त विवरण दीजिए।
उत्तर:
भारत के कुल कोयला उत्पादन का लगभग 2% भाग टर्शियरी काल की चट्टानों से प्राप्त होता है। भारत में टर्शियरीकालीन कोयला उत्पादन निम्नलिखित क्षेत्रों से प्राप्त होता है –

  1. मेघालय राज्य – गारो, खासी व जयन्ति या पहाड़ियाँ।
  2. असम राज्य – लखीमपुर, शिवसागर जिलों में माकुम क्षेत्र।
  3. पश्चिमी बंगाल – पनकाबाड़ी।
  4. अरुणाचल प्रदेश – डाफला पहाड़ियों में डीगरॉक क्षेत्र।
  5. तमिलनाडु – तिरुवनल्लूर व वेल्लोर जिले में नवेली क्षेत्र।
  6. राजस्थान – बीकानेर में पलाना क्षेत्र।

प्रश्न 5.
भारत में कोयले के प्रमुख उत्पादक क्षेत्रों का संक्षिप्त विवरण दीजिए।
उत्तर:
कोयला शक्ति और ऊर्जा का महत्त्वपूर्ण स्रोत है। कोयला मुख्य रूप से दो भूगर्भिक कालों-गोण्डवाना व टर्शियरीकाल के क्षेत्र क्रमों में पाया जाता है।
गोण्डवाना काल के प्रमुख कोयला उत्पादन के क्षेत्र:
भारत में गोण्डवाना कालीन कोयला क्षेत्र के महत्त्वपूर्ण जमाव दामोदर नदी, गोदावरी नदी, महानदी तथा सोन नदी घाटी क्षेत्र में मिलते हैं। यह कोयला क्षेत्र झारखण्ड, पश्चिम बंगाल, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, उड़ीसा, महाराष्ट्र तथा आन्ध प्रदेश राज्यों में स्थित है।

झारखण्ड:
राज्य के कोयला क्षेत्रों में झरिया, बोकारो, गिरिडीह तथा करनपुरा एवं पश्चिम बंगाल राज्य में रानीगंज सर्वप्रमुख है। झरिया देश का सबसे बड़ा कोयला क्षेत्र है, जबकि रानीगंज भारत का दूसरा सबसे बड़ा कोयला क्षेत्र है।

मध्य प्रदेश राज्य:
मध्य प्रदेश राज्य में सिंगरौली, जिसका कुछ भाग उत्तर प्रदेश में भी है, सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण कोयला क्षेत्र है। छत्तीसगढ़ राज्य में कोरबा, रामकोला व तातापानी; उड़ीसा राज्य में तालचर, महाराष्ट्र राज्य में चाँदा-वर्धा, काम्पटी व यवतमाल तथा आन्ध्र प्रदेश राज्य में सिंगरेनी भारत के अन्य महत्त्वपूर्ण कोयला उत्पादक क्षेत्र हैं।

प्रश्न 6.
भारत में कोयले के अन्तर्राष्ट्रीय व्यापार की विवेचना कीजिए।
उत्तर:
भारत में उत्पादित कोयले का एक बड़ा भाग घरेलू माँग में उपभोग कर लिया जाता है। शेष कोयले का निर्यात भारत द्वारा अपने पड़ोसी देश बांग्लादेश, नेपाल, भूटान, म्यांमार तथा श्रीलंका को कर दिया जाता है। सन् 2010 में भारत द्वारा ₹ 521 करोड़ मूल्य का कोयला विदेशों को निर्यात किया गया था। भारत में उच्च कोटि का कोकिंग कोयला ऑस्ट्रेलिया, कनाडा व यूरोपियन देशों से आयात किया जाता है। सन् 2012-13 में भारत में लगभग ₹ 840 अरब मूल्य का कोयला विदेशों से आयात किया गया था।

प्रश्न 7.
भारत के प्रमुख पेट्रोलियम उत्पादक क्षेत्रों का संक्षिप्त विवरण दीजिए।
उत्तर:
भारत के प्रमुख पेट्रोलियम उत्पादक क्षेत्र:
भारत में पेट्रोलियम टर्शियरी युग की अवसादी शैलों में पाया जाता है। भारत में व्यवस्थित ढंग से तेल की खोज एवं उत्पादन कार्य सन् 1956 में तेल एवं प्राकृतिक गैस आयोग की स्थापना के पश्चात् प्रारम्भ हुआ। प्रमुख तेल उत्पादक क्षेत्र निम्नलिखित हैं –
1. उत्तरी-पूर्वी क्षेत्र:
यह भारत का सबसे पुराना तेल उत्पादक क्षेत्र है। इस क्षेत्र के महत्त्वपूर्ण उत्पादक क्षेत्र डिगबोई, नाहरकटिया, मोरान, रुद्रसागर आदि हैं।

2. गुजरात क्षेत्र:
गुजरात के प्रमुख तेल क्षेत्र अंकलेश्वर, कलोल, मेहसाना, नवागाम, कोथाना तथा लुनेज आदि हैं।

3. बम्बई हाई:
यह तेल क्षेत्र बम्बई तट के निकट बम्बई नगर से 160 किमी दूर अपतटीय क्षेत्र में पड़ता है। यह तेल क्षेत्र सन् 1973 में खोजा गया था और यहाँ सन् 1976 से उत्पादन प्रारम्भ हो गया तथा वर्तमान में यह भारत का सर्वाधिक पेट्रोलियम उत्पादक क्षेत्र है।

4. पूर्वी तट प्रदेश:
यह तेल क्षेत्र कृष्णा, गोदावरी तथा कावेरी बेसिनों में विस्तृत है। इस तेल क्षेत्र की खोज तेल एवं । प्राकृतिक गैस आयोग ने की।

5. बाड़मेर क्षेत्र:
राजस्थान का बाड़मेर जिला भारत में एक तेजी से उभरता पेट्रोलियम क्षेत्र है।

प्रश्न 8.
भारत के विभिन्न तेल शोधन कारखानों के नाम लिखिए।
अथवा
भारत की कार्यरत एवं निर्माणाधीन तेल शोधनशालाएँ कौन-सी हैं? नाम लिखिए।
उत्तर:
भारत की कार्यरत एवं निर्माणाधीन तेल शोधनशालाएँ निम्नलिखित हैं –

  1. पानीपत (हरियाणा)
  2. मथुरा (उत्तर प्रदेश)
  3. बरौनी (बिहार)
  4. बोंगाईगाँव गुवाहाटी, नुमालीगढ़ व डिगबोई (असम)
  5. कोयली (गुजरात)
  6. मुम्बई (महाराष्ट्र)
  7. हल्दिया (प. बंगाल)
  8. विशाखापट्टनम व तातीपाका (आन्ध्र प्रदेश)
  9. मंगलौर (कर्नाटक)
  10. चेन्नई व नागपट्टिनम (तमिलनाडु)
  11. कोच्चे (केरल)
  12. भटिण्डा (पंजाब)-निर्माणाधीन
  13. बीना (मध्य प्रदेश)
  14. एस.ई.जेड., जामनगर
  15. मोती खावड़ी, जामनगर
  16. वादीनार (गुजरात)।

प्रश्न 9.
भारत की प्रमुख तेल व गैस पाइपलाइनों का संक्षिप्त विवरण दीजिए।
उत्तर:
भारत में कुल 13 हजार किमी लम्बी तेल पाइपलाइनें हैं जिनमें से निम्नलिखित सर्वप्रमुख हैं –

  1. असम में नाहरकटिया से नूनमती होती हुई बरौनी (बिहार) तक-1152 किमी लम्बाई।
  2. बम्बई हाई से मुम्बई तट तक 210 किमी लम्बाई की दो पाइपलाइनें।
  3. सलाया (कच्छ खाड़ी के तट पर स्थित) से मथुरा तक-1075 किमी लम्बाई।
  4. मथुरा से दिल्ली-अम्बाला होते हुए जालन्धर तक-763 किमी लम्बाई।
  5. हजीरा (गुजरात)-विजयपुर-जगदीशपुर (HBJ) गैस पाइप लाइन-1750 किमी लम्बाई।
  6. कांडला-भटिण्डा पाइप लाइन-1331 किमी लम्बाई।
  7. विशाखापट्टनम-विजयवाड़ा-सिकन्दराबाद पाइप लाइन-572 किमी लम्बाई।
  8. मुम्बई, से पुणे पाइपलाइन।
  9. चेन्नई-त्रिची-मदुरै पाइप लाइन, 683 किमी लम्बाई।

प्रश्न 10.
भारत में परमाणु ऊर्जा उत्पादन में प्रयुक्त खनिजों के निक्षेपों को संक्षेप में बताइए।
उत्तर:
भारत में परमाणु ऊर्जा उत्पादन में रेडियोधर्मी खनिज यूरेनियम तथा थोरियम का प्रमुख रूप से उपयोग होता है, जबकि इल्मेनाइट, बेरिलियम, जिरकन तथा ग्रेफाइट परमाणु ऊर्जा उत्पादन में प्रयुक्त अन्य रेडियोधर्मी खनिज हैं।

यूरेनियम:
इस अयस्क के निक्षेप प्रमुख रूप से धारवाड़ क्रम की चट्टानों में मिलते हैं। ये अयस्क झारखण्ड राज्य की सिंहभूम तथा आन्ध्र प्रदेश के नेल्लोर क्षेत्रों में मिलते हैं। राजस्थान राज्य के उदयपुर, झुंझुनूं तथा अलवर जिलों में अभ्रक पेटी के क्षेत्रों में तथा हिमाचल प्रदेश के कुल्लू जिले व उत्तराखण्ड के चमोली जिले में यूरेनियम अयस्क के महत्त्वपूर्ण निक्षेप मिलते हैं।

थोरियम:
यह अयस्क केरल के तटीय क्षेत्रों की बालू में उपस्थित मोनाजाइट एवं इल्मेनाइट खनिजों से प्राप्त किया जाता है। केरल राज्य के पालाक्काड़ व कोलाम जिलों में, आन्ध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम तथा उड़ीसा राज्य में महानदी के डेल्टा भागों में विश्व के सर्वाधिक समृद्ध मोनाजाइट निक्षेप पाए जाते हैं।

बेरिलियम:
राजस्थान, झारखण्ड, आन्ध्र प्रदेश तथा तमिलनाडु राज्यों के अभ्रक खनन क्षेत्रों में मिलता है। जिरकन खनिज केरल की बालू रेत से, ग्रेफाइट उड़ीसा, आन्ध्र प्रदेश, तमिलनाडु, राजस्थान व मध्य प्रदेश में पाया जाता है।

प्रश्न 11.
भारत के परमाणु विद्युत गृहों के प्रारम्भ होने के वर्ष तथा उत्पादन क्षमता को एक तालिका के माध्यम से प्रस्तुत कीजिए।
उत्तर:
भारत के परमाणु विद्युत गृह:
RBSE Solutions for Class 12 Geography Chapter 17 ऊर्जा संसाधन

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 लघूत्तरात्मक प्रश्न (SA-II)

प्रश्न 1.
दामोदर घाटी कोयला क्षेत्र की प्रमुख विशेषता बताइये।
उत्तर:
दामोदर घाटी कोयला क्षेत्र की निम्न विशेषताएं हैं –

  1. यह देश का सबसे बड़ा कोयला उत्पादक क्षेत्र है।
  2. इस क्षेत्र से देश का 50 प्रतिशत से भी अधिक कोयला उत्पादित किया जाता है।
  3. इस कोयला उत्पादक क्षेत्र में उत्तम किस्म के बिटुमिनस कोयले के भंडार मिलते हैं।
  4. यह कोयला उत्पादक क्षेत्र मुख्यत: झारखण्ड व पश्चिम बंगाल राज्यों में फैला हुआ है।
  5. इस क्षेत्र में भारत के सबसे समृद्ध कोयला क्षेत्र रानीगंज व झरिया मिलते हैं।
  6. इस घाटी में मिलने वाली पहाड़ियाँ कोयला निक्षेपों का प्रमुख क्षेत्र है।

प्रश्न 2.
भारत के प्रमुख अपतटीय पेट्रोलियम उत्पादक क्षेत्रों का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
भारत के प्रमुख अपतटीय पेट्रोलियम उत्पादक क्षेत्र निम्नानुसार हैं –

  1. गुजरात के सौराष्ट्र में भावनगर से 45 किमी दूर अरब सागर में स्थित अलियाबेट तेल क्षेत्र।
  2. मुम्बई से 176 किमी, उत्तर-पश्चिम में अरब सागर में स्थित मुम्बई हाई नामक क्षेत्र।
  3. मुम्बई हाई के दक्षिण में बसई नामक तेल क्षेत्र।
  4. कावेरी व कृष्णा तथा गोदावरी बेसिनों के अपतटीय क्षेत्र।
  5. रायनम तट, मदनम तट व नागपट्टीनम् तेल क्षेत्र।
  6. राजस्थान के बाड़मेर जिले के खनिज तेल क्षेत्र।

प्रश्न 3.
आणविक ऊर्जा के विकास की भारत के संदर्भ में विशेषता बताइये।
उत्तर:
आणविक ऊर्जा की निम्नलिखित विशेषताएँ हैं –

  1. यह ऊर्जा प्रारूप देश में ऊर्जा की बढ़ती हुई मांग को पूरा करने में सक्षम है।
  2. इस ऊर्जा प्रारूप का विकास सीमित संसाधनों को देखते हुए किया गया है।
  3. यह ऊर्जा रेडियोधर्मी परमाणुओं के विखण्डन से प्राप्त की जाती है।
  4. इससे प्राप्त विद्युत पर्याप्त सस्ती पड़ती है।
  5. इसमें प्राकृतिक विखण्डन जटिल एवं खर्चीला होता है।
  6. भारत में परमाणु ऊर्जा का विकास अन्य देशों की तुलना में अभी कम है।

प्रश्न 4.
गैर-परम्परागत ऊर्जा स्रोत किस प्रकार उपयोगी है? स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
गैर-परम्परागत ऊर्जा स्रोतों के उपयोग व महत्व को निम्न बिन्दुओं के माध्यम से समझा जा सकता है –

  1. ये ऊर्जा स्रोत असीमित होते हैं।
  2. इन स्रोतों से किसी भी प्रकार का पर्यावरण प्रदूषण नहीं फैलता है।
  3. इन ऊर्जा प्रारूपों में प्रकृति प्रदत्त दशाएँ महत्त्वपूर्ण स्थान रखती हैं।
  4. जैविक ऊर्जा से स्वतः ही कूड़ा-कचरा व अपशिष्टों का निपटान संभव होता है।
  5. इन ऊर्जा प्रारूपों ने परम्परागत ऊर्जा संसाधनों का प्रयोग कम कर उनके संरक्षण में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
  6. इन संसाधनों का मानवे अपनी इच्छानुसार कितना भी प्रयोग कर सकता है।
  7. ये ऊर्जा स्रोत पर्यावरण की रक्षा करने में सार्थक सिद्ध हुए हैं।

RBSE Class 12 Geography Chapter 17 निबंधात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
भारत के प्रमुख पेट्रोलियम उत्पादक क्षेत्रों का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
भारत में पेट्रोलियम (खनिज तेल) उत्पादन के निम्नलिखित क्षेत्र हैं –

1. असम राज्य:
इस राज्य के लखीमपुर जिले के डिगबोई; बधापुंग व हंसापुंग नामक स्थानों पर तथा ब्रह्मपुत्र घाटी के नाहरकटिया, हुगरीजन, मोरान, रुद्रसागर, लकवा, गालेकी व अमगरी नामक स्थानों पर पेट्रोलियम खनन प्रमुख रूप से किया जाता है।

2. गुजरात राज्य:
गुजरात राज्य में कच्छ की खाड़ी, सूरत, बड़ौदा, भड़ौच, मेहसाना तथा खेड़ा नामक जिलों के लगभग 15500 वर्ग किमी, क्षेत्र में पेट्रोलियम के बड़े संचित भण्डार हैं। अंकलेश्वर इस राज्य का सर्वप्रमुख तेल क्षेत्र है जहाँ प्रतिवर्ष लगभग 30 लाख टन पेट्रोलियम प्राप्त होता है। खम्भात की खाड़ी दूसरा महत्त्वपूर्ण तेल क्षेत्र है, जहाँ से प्रति वर्ष 15 लाख टन पेट्रोलियम प्राप्त होता है। अहमदाबाद के पश्चिम में स्थित कलोल, मेहसाना व नवगाम क्षेत्र, सानन्द तथा कोथाना इस राज्य के अन्य पेट्रोलियम उत्पादक क्षेत्र हैं।

3. अपतटीय क्षेत्र:
भारत के अपतटीय क्षेत्रों में से निम्नलिखित क्षेत्र पेट्रोलियम के संचित भण्डारों की दृष्टि से महत्त्वपूर्ण है –

(अ) अलियाबेट द्वीप:
गुजरात के सौराष्ट्र क्षेत्र में स्थित भावनगर से 45 किमी दूर अरब सागर में स्थित इस द्वीप में पेट्रोलियम के बड़े संचित भण्डार प्रमाणित हो चुके हैं।

(ब) बम्बई हाई:
मुम्बई से 176 किमी उत्तर-पश्चिम में अरब सागर में स्थित बम्बई हाई देश का सबसे बड़ा पेट्रोलियम उत्पादक क्षेत्र है, जहाँ सागर सम्राट नामक जलयान के प्लेटफार्म की सहायता से 1416 मीटर की गहराई पर सन् 1976 से व्यावसायिक स्तर पर पेट्रोलियम उत्पादन किया जा रहा है।

(स) बसीन तेल क्षेत्र:
बम्बई हाई तेल क्षेत्र के दक्षिण में बसीन नामक स्थान पर लगभग 1900 मीटर की गहराई पर पेट्रोलियम के विशाल भण्डार हैं, जो बम्बई हाई की तुलना में अधिक समृद्ध हैं।

(द) कावेरी, कृष्णा तथा गोदावरी बेसिनों के अपतटीय क्षेत्र:
इसमें रायनम तट पर 1500 बैरल प्रतिदिन, मदनम तट पर 4300 बैरल प्रतिदिन तथा कावेरी बेसिन के नारिमाननी क्षेत्र से 200 बैरल प्रतिदिन तथा कोविलकल्लपल अभितटीय क्षेत्र से 206 बैरल प्रतिदिन की दर पर कच्चे तेल का उत्पादन प्राप्त हो रहा है।

4. राजस्थान राज्य:
राजस्थान राज्य के पश्चिमी भाग में अवस्थित बाड़मेर बेसिन के बाड़मेर तथा जैसलमेर जिलों से सन् 2009-13 के मध्य पेट्रोलियम का व्यावसायिक स्तर पर उत्पादन क्रेयर्न एनर्जी लि. द्वारा किया जा रहा है। सन् 2013-14 में इस क्षेत्र में देश का लगभग 24% पेट्रोलियम उत्पादित किया गया।
RBSE Solutions for Class 12 Geography Chapter 17 ऊर्जा संसाधन
प्रश्न 2.
भारत की तेल शोधनशालाओं के नाम, अवस्थिति तथा वर्तमान उत्पादन क्षमता को सूचीबद्ध कीजिए।
उत्तर:
भारत के तेल शोधन कारखाने:
RBSE Solutions for Class 12 Geography Chapter 17 ऊर्जा संसाधन
प्रश्न 3.
भारत की प्रमुख जल विद्युत परियोजनाओं की विवेचना कीजिए।
उत्तर:
देश में सन् 2007 में 611 जल विद्युत परियोजनाएँ पूरी कर ली गई, जबकि 225 परियोजनाएँ निर्माणाधीन हैं।
राज्यवार जल विद्युत उत्पादन व परियोजनाएँ:
भारत में राज्यवार जल विद्युत उत्पादन क्षमता (सन् 2013-14) तथा कार्यरत जल विद्युत परियोजनाओं का विवरण निम्नवत् है –

1. आन्ध्र प्रदेश-तेलांगना:

2. कर्नाटक:

3. महाराष्ट्र:

4. पंजाब:

5. तमिलनाडु:

6. ओडिशा:

7. केरल:

8. मध्य प्रदेश:

9. हिमाचल प्रदेश:

अन्य महत्त्वपूर्ण जल विद्युत परियोजनाएँ:

  1. उत्तर प्रदेश में गंगा इलेक्ट्रिक ग्रिड (सलावा, चितौरा, भोला, सुमेरा, पालरा), रिहन्द, माताटीला, रामगंगा।
  2. उत्तराखण्ड में टिहरी, देवसारी, विष्णुगाद, पिपल कोटी तथा खटीमा।
  3. राजस्थान में राणाप्रताप सागर तथा जवाहर सागर।
  4. अरुणाचल प्रदेश में रांगानदी, तवांग तथा इटालिन, असम में डमियाम, मेघालय में कर्दम कुलाई, सिक्कम में निचला लाग्याप, मणिपुर में लोकटक तथा नागालैण्ड में दोयांग।

भारत की इन जल विद्युत परियोजनाओं के प्रमुख विद्युत केन्द्रों को निम्न मानचित्र की सहायता से दर्शाया गया है –
RBSE Solutions for Class 12 Geography Chapter 17 ऊर्जा संसाधन

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