Rajasthan Board RBSE Class 10 Maths
प्रश्न 1.
प्रमाणित कीजिए कि  
 एक अपरिमेय संख्या है।
  एक अपरिमेय संख्या है।हल:
 एक अपरिमेय संख्या के विपरीत मान लें कि 5-3 एक परिमेय संख्या है, तो इस प्रकार के दो सह-अभाज्य पूर्णांक a और b विद्यमान होंगे कि
  एक अपरिमेय संख्या के विपरीत मान लें कि 5-3 एक परिमेय संख्या है, तो इस प्रकार के दो सह-अभाज्य पूर्णांक a और b विद्यमान होंगे कि
यह इस तथ्य का विरोध करता है कि 3 एक अपरिमेय संख्या है। अतः प्रारम्भ में ली गई परिकल्पना गलत है।
अतः
 एक अपरिमेय संख्या है।
  एक अपरिमेय संख्या है।
प्रश्न 2.
सिद्ध कीजिए कि निम्नलिखित संख्याएँ अपरिमेय संख्याएँ हैं
(i)  
(ii)  
(iii)  
हल:
(i) 
प्रश्न में दिए गए कथन के विपरीत माना कि   एक परिमेय संख्या है।
  एक परिमेय संख्या है।
अंतः हम अविभाज्य पूर्णांक a और B (b ≠ 0) प्राप्त कर सकते हैं अर्थात्

क्योंकि दो पूर्णांकों का भागफल एक परिमेय संख्या होती है।
अतः   = एक परिमेय संख्या
  = एक परिमेय संख्या
(i) से   भी एक परिमेय संख्या है। परन्तु यह कथन असत्य है। अर्थात् हमारी कल्पना असत्य है। अतः
  भी एक परिमेय संख्या है। परन्तु यह कथन असत्य है। अर्थात् हमारी कल्पना असत्य है। अतः   एक अपरिमेय संख्या है। (इतिसिद्धम् )
  एक अपरिमेय संख्या है। (इतिसिद्धम् )
(ii) 
माना कि   एक परिमेय संख्या है। अतः हम ऐसी सह-अभाज्य संख्याएँ a और b (b ≠ 0) ज्ञात कर सकते हैं कि
  एक परिमेय संख्या है। अतः हम ऐसी सह-अभाज्य संख्याएँ a और b (b ≠ 0) ज्ञात कर सकते हैं कि

चूँकि a तथा b पूर्णांक हैं अतः   भी एक पूर्णांक संख्या होगी क्योंकि पूर्णांकों की बाकी तथा पूर्णांकों का भाग भी पूर्णांक होता है। अर्थात्
  भी एक पूर्णांक संख्या होगी क्योंकि पूर्णांकों की बाकी तथा पूर्णांकों का भाग भी पूर्णांक होता है। अर्थात्

परिमेय संख्या परन्तु यह कथन कि   एक अपरिमेय संख्या होती है, का विरोधाभासी कथन है। अत: हमारी कल्पना असत्य है। अर्थात्
  एक अपरिमेय संख्या होती है, का विरोधाभासी कथन है। अत: हमारी कल्पना असत्य है। अर्थात्   एक अपरिमेय संख्या है।
  एक अपरिमेय संख्या है।
(इतिसिद्धम्)
(iii) 
माना कि दी गई संख्या   एक परिमेय संख्या है। अतः हम ऐसे दो पूर्णाक a और B (b ≠ 0) प्राप्त कर सकते हैं कि
  एक परिमेय संख्या है। अतः हम ऐसे दो पूर्णाक a और B (b ≠ 0) प्राप्त कर सकते हैं कि

चूँकि (i) में a, 3 और b सभी पूर्णांक हैं तथा दो पूर्णांकों का भाग भी एक परिमेय संख्या होती है। अर्थात्
 = एक परिमेय संख्या
  = एक परिमेय संख्या
अतः (i) से   = एक परिमेय संख्या
  = एक परिमेय संख्या
जो कि कथन   एक अपरिमेय संख्या है, का विरोधाभासी कथन है। अर्थात् हमारी कल्पना असत्य है। अत:
  एक अपरिमेय संख्या है, का विरोधाभासी कथन है। अर्थात् हमारी कल्पना असत्य है। अत:   एक अपरिमेय संख्या है।
  एक अपरिमेय संख्या है।
(इतिसिद्धम् )
प्रश्न 3.
यदि p और q अभाज्य धनात्मक पूर्णांक हैं, तो सिद्ध कीजिए कि   एक अपरिमेय संख्या है।
  एक अपरिमेय संख्या है।
हल:
 एक अपरिमेय संख्या के विपरीत यह मान लें कि
  एक अपरिमेय संख्या के विपरीत यह मान लें कि
 एक परिमेय संख्या है, तो इस प्रकार के दो सह-अभाज्य पूर्णांक a और b विद्यमान हैं, कि
  एक परिमेय संख्या है, तो इस प्रकार के दो सह-अभाज्य पूर्णांक a और b विद्यमान हैं, कि
